बिजनौर जिले का इतिहास (History of Bijnor)
History of Bijnor: बिजनौर उत्तर प्रदेश का एक महत्वपूर्ण जिला है और उत्तर प्रदेश का एक ऐतिहासिक और सांस्कृतिक रूप से समृद्ध जिला है, जो भारत के उत्तर-पश्चिमी भाग में स्थित है। इसका इतिहास कई महत्वपूर्ण कालखंडों से जुड़ा हुआ है, जिनमें प्राचीन, मध्यकालीन और आधुनिक युग शामिल हैं।
प्राचीन इतिहास (Anciant History)
- बिजनौर का उल्लेख महाभारत काल में भी मिलता है। यह क्षेत्र उस समय ‘विदुर कुटी’ के नाम से जाना जाता था, जहाँ कहा जाता है कि महात्मा विदुर ने निवास किया था।
- यह क्षेत्र पहले पंचाल राज्य का हिस्सा था, जो कि महाभारत में द्रौपदी के राज्य के रूप में जाना जाता है। ऐसा कहा जाता है कि बिजनौर की स्थापना राजा बिजली पासी ने की थी, वही बिजनौर को नगीना जिला भी कहा जाता है।
मध्यकालीन इतिहास (Medieval History)
- 13वीं से 18वीं सदी तक, यह क्षेत्र विभिन्न मुस्लिम शासकों के अधीन रहा।
- मुगल साम्राज्य के समय में, बिजनौर एक महत्वपूर्ण प्रशासनिक क्षेत्र रहा। अकबर के शासनकाल में यह ‘सूबा’ (प्रांत) के अंतर्गत आता था।
- बाद में यह रोहिला पठानों के नियंत्रण में आया। रोहिलों ने इस क्षेत्र पर लंबे समय तक शासन किया और इसे अपना गढ़ बनाया।
ब्रिटिश काल (History of Bijnor)
- 18वीं सदी के अंत में, ब्रिटिश ईस्ट इंडिया कंपनी ने इस क्षेत्र पर नियंत्रण कर लिया।
- 1857 की प्रथम स्वतंत्रता संग्राम में बिजनौर के कई लोगों ने भाग लिया, विशेषकर नवाबों और जमींदारों ने विद्रोह में हिस्सा लिया।
स्वतंत्रता के बाद: (After Independence)
सन 1817 इसी में मुरादाबाद जिले से अलग होकर बिजनौर जिले की स्थापना की गई| उसके बाद 1837 ईस्वी में बदलकर बिजनौर किया गया|स्वतंत्रता के बाद बिजनौर उत्तर प्रदेश राज्य का हिस्सा बना।
Famous Place of Bijnor UP
सीता मंदिर मठ (Sita Mandir Math)

बिजनौर जिले में स्थित या मंदिर रामायण काल से जुड़ा हुआ है और भवन राम और माता सीता को समर्पित है जहां दूर-दूर से भक्तगण इनके दर्शन करने को आते हैं।
राधा कृष्ण मंदिर
पंचमुखी मंदिर (Panchmukhi Mandir)

यह मंदिर भगवान शिव के पंचमुखी रूप को समर्पित है और सालों बढ़िया भक्तों का जमावड़ा लगा रहता है।
शिव मंदिर (Shiv Mandir)

बिजनौर का बहुत प्रसिद्ध मंदिर है और भगवान शिव की यहां पूजा होती है और शिवरात्रि के दिन यहां दूर-दूर से श्रद्धालु आते हैं।
चामुंडा मंदिर (Chamunda Mandir)

चामुंडा देवी का मंदिर लोगों और बेटों के बीच बहुत प्रसिद्ध है और लोग माता के दर्शन करने नवरात्त्र में जरूर आते हैं।
विदुर कुटी (Vidur Kuti)

यह आश्रम बिजनौर से लगभग 12 किलोमीटर दूर अवस्थित है और इसका अस्तित्व महाभारत काल से देखने को मिलता है| ऐसा माना जाता है यहां महात्मा विदुर का आश्रम था जहां भगवान श्री कृष्ण भी दर्शन करने आए थे।
परशनाथ दिगंबर जैन मंदिर (Parasnath Digambar Jain Temple)
यह मंदिर जैन दिगंबर पार्श्वनाथ के लिए प्रसिद्ध है और जैन धर्म के लोग यहां जरूर दर्शन करने आते हैं।
नजीबाबाद किला और मस्जिद (Najibabad Fort and Mosque)

नजीबाबाद किला को नवाब नाजिम उद्दौला ने बनाया था और इसी में एक मस्जिद भी है, यह किला बिजनौर से 37 किलोमीटर दूर अवस्थित है।
गंज (Ganj)
ये बिजनौर से लगभग 11 किलोमीटर दूर अवस्थित है और सुंदर नदी और प्राकृतिक और शुद्ध वातावरण के लिए एक पर्यटक जगह है।
बिजनौर जिले के ये स्थल अपनी धार्मिक, ऐतिहासिक और सांस्कृतिक धरोहर के लिए विशेष महत्व रखते हैं और पर्यटकों को आकर्षित करते हैं।
उद्योग धंधे और कृषि (Industries andAgriculture)
गन्ना उद्योग- जब इग्नोर का एक प्रमुख उद्योग है और इसके कारण यहां कई चीनी मील स्थापित है जो यहां के लोगों के रुचि रोटी का एक तरह से साधन है। यहां धामपुर शुगर मिल्स लिमिटेड और द्वारिकेश शुगर मी लिमिटेड प्रमुख चीनी मिले हैं।
नगीना उद्योग– नगीना उद्योग प्रमुख कास्ट कल के लिए जाना जाता है जिसमें लकड़ी पर नकाशी के काम बहुत प्रसिद्ध है और इसे वुड क्राफ्ट सिटी के नाम से जाना जाता है। इन लोगो को इसके अलावा बिजनौर में कागज और इस्पात उद्योग भी प्रसिद्ध है।
Demography (History of Bijnor)
बिजनौर उत्तर प्रदेश एक प्रमुख जिला है, और इसकी जनसंख्या, लिंगानुपात, साक्षरता दर और पंचायत व्यवस्था के बारे में निम्नलिखित विवरण दिए जा रहे हैं:-
जनसंख्या (Population)
2021 की अनुमानित जनसंख्या के अनुसार बिजनौर जिले की कुल जनसंख्या लगभग 42 लाख के आसपास है।जबकि
(2011 की जनगणना के अनुसार: 36,82,713)
लिंगानुपात (Sex Ratio)
2011 जनगणना के अनुसार, बिजनौर का लिंगानुपात लगभग 917 महिलाएं प्रति 1000 पुरुष था। यह आंकड़ा राष्ट्रीय औसत से थोड़ा कम है।
साक्षरता दर (Literacy Rate)
बिजनौर जिले की कुल साक्षरता दर लगभग 70% है।
- पुरुष साक्षरता: लगभग 78%
- महिला साक्षरता: लगभग 61%
पंचायत व्यवस्था (Panchayat System)
बिजनौर जिले में पंचायत राज व्यवस्था सक्रिय है, जिसमें शामिल हैं:-
- ग्राम पंचायतें (गाँवों का संचालन)
- क्षेत्र पंचायतें (ब्लॉक स्तर)
- जिला पंचायत (जिला स्तर)
जिले में कई ग्राम सभाएं हैं, जिनमें चुने हुए प्रतिनिधि विकास कार्यों का संचालन करते हैं। प्रत्येक पंचायत का प्रमुख ग्राम प्रधान होता है, जिसे ग्रामवासी चुनते हैं।
Famous food of Bijnor UP
- उड़द चावल: यहभोजन बिजनौर में विशेष प्रकार के शादी समारोह और विभिन्न आयोजन में किया जाता है।
- उड़द गोश्त: यह एक मांसाहारी व्यंजन है जिसे चावल और उड़द और गोश्त के साथ भरोसा जाता है।
- लस्सी, शरबत, रायता और छाछ: गर्मियों मैया अक्सर लस्सी शरबत छाछ को पिया जाता है।
- तुलाराम के रसगुल्ले (नगीना): बिजनौर के नगीना तस्वीर में स्थित तुलाराम की दुकान अपने रसगुल्ला के लिए प्रसिद्ध है और दूर-दूर से यहां लोग रसगुल्ला का स्वाद लेने आते हैं।
- गुड़ (मुज़फ्फरनगर गुड़): बिजनौर में गाना का उत्पादन अधिक होता है और इसलिए यहां गाने से जो कुर्बानी जाती है वह अन्य जगह से बिल्कुल अलग होती है।
- मोंटी मिलियन्स रेस्टोरेंट: यह विभिन्न प्रकार के राष्ट्रीय अंतरराष्ट्रीय भोजन उपलब्ध है।
- चतुर्वेदी फूड कोर्ट: यह स्थान अपने स्वादिष्ट स्नेक्स और मिठाइयों के लिए जाना जाता है।
- सम्राट रेस्टोरेंट: इस डिस्टेंस में उत्तर भारतीय खाने का स्वाद दिया जाता है।
College, University and Educational Institution of Bijnor UP
- R. V. Institute of Technology (RVIT), Bijnor
- Krishna College, Bijnor
- Veer Kunwar Institute of Technology (VKIT), Bijnor
- Government Engineering College, Bijnor
- Vivek College, Bijnor
- Kunwar Satyaveer College of Engineering and Management (KSVCEM), Bijnor
- Disha Institute of Science and Technology, Dhampur Bijnor
History of Bijnor: बिजनौर जिले के प्रमुख कॉलेज विश्वविद्यालय और शिक्षण संस्थान है जिनके माध्यम से बिजनौर उसके अगल-बगल के क्षेत्र के स्टूडेंट या शिक्षा ग्रहण करने आते हैं अपने भविष्य को सवारते हैं। तो इस तरह बिजनौर जिला उत्तर प्रदेश का एक तरह से कह सकते हैं विकासशील जिला बन चुका है और यहां सरकार की तरफ से भी विकास के कई काम हो रहे हैं।
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